शिव स्तुति ©लवी द्विवेदी

 शिवं शंभु तुभ्यं नमामी मलंगा, 

महे मुण्डमालं गलेव्यं भुजंगा। 

विभूती विशालं वदामी विहंगा, 

त्रियं नेत्र स्वामी शशी शीश गंगा। 


शिला लेख संयास नंदीश धारी, 

कृपाकाल कालाप कामादिकारी। 

प्रभो पाप नाशाय पुण्यं पुरारी, 

मधू पाणि शंकाश सिन्धुः खरारी। 


सदा शोभितं शेष ग्रीवा समागं, 

भुजायादि कंशादि तत्वं तड़ागं। 

निरुद्धं विशुद्धं निशा नाथ नागं, 

तुषाराद्रि तातं त्रयः ताप त्यागं। 


च दृष्टांत दामोदरं श्री दयालं, 

नमामीश गौरीश कशीश कालं। 

शिवः सूप्ति सृष्टीश सोहं शिवालं, 

क्रिया क्रांति कामी कुसाग्रं कृपालं। 


नमो नाथ नाथाय रुद्राष्टस्वामी, 

नमो पाहि आशीष नागेशबामी। 

नमो अाशुतोषं शिवं कोटि कामी,

नमो निर्विकारं नमामी नमामी। 

  © लवी द्विवेदी


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टिप्पणियाँ

  1. सुंदर शिव स्तुति , 🙏🏻 ओम् नमः शिवाय 🙏🏻

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  2. अत्यंत अद्भुत शिव स्तुति🙏🙏👏👏👏नमन

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  3. अति उत्तम एवं मनहर शिव स्तुति 👏👏👏👏

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  4. बहुत बहुत बहुत बधाई.... उत्कृष्ट छंद बद्ध , लय बद्ध शिव‌स्तुति ... ऊँ नमः शिवाय 💐💐💐💐🙏🙏🙏🙏🙏

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  5. बहुत बहुत बहुत बधाई.... उत्कृष्ट छंद बद्ध , लय बद्ध शिव‌स्तुति ... ऊँ नमः शिवाय 💐💐💐💐🙏🙏🙏🙏🙏

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  6. बहुत सुंदर शिव स्तुति 🙏🏻🌸🌸🌸🌸

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  7. अत्यंत उत्कृष्ट छंद बद्ध शिव स्तुति

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